10. दिसम्बर 2024 / 0 Comments हिम्मत चेतन आत्मोवाच 55 :-पत्थर रख सीने पर, मोड़ दे दिशा लहरों की lकाम नहीं है कठिन, मनः बात है प्यारे हिम्मत की llचेतन कौशल "नूरपुरी"
10. दिसम्बर 2024 / 0 Comments जिन्दगी चेतन आत्मोवाच 54 :-ओला गिरता जल में, बन जायेगा पानी lबर्फ पर लिखी जिन्दगी तेरी, मनः एक दिन बन जाएगी पानी llचेतन कौशल "नूरपुरी"
10. दिसम्बर 2024 / 0 Comments ईर्ष्या चेतन आत्मोवाच 53 :-आग से खेलता है क्यों? वह रख बनाया करती है lतू इर्ष्या करता है क्यों ? मनः हँसते हुए को रुलाया करती है llचेतन कौशल "नूरपुरी"
10. दिसम्बर 2024 / 0 Comments सत्य चेतन आत्मोवाच 52 :-जान सके तो जान, सत्य ही है भगवान् lजायेगा तू पहचान, मनः थोड़ा-थोड़ा कर ध्यान llचेतन कौशल "नूरपुरी"
10. दिसम्बर 2024 / 0 Comments तीन शत्रु चेतन आत्मोवाच 51 :-आलस्य, झूठ, और अभिमान तीनों हैं तेरे शत्रु महान lएक को भी निकट न आने देना, मनः सुन ले तू देकर ध्यान llचेतन कौशल "नूरपुरी"