Author Image
विचारकों के कथन :-

गुणों से ही मानव की पहचान होती है। ऊँचे सिँहासन पर बैठने से नहीं। महलों के उच्च शिखर पर बैठने के बावजूद कौवे का गरुड़ होना असम्भव है।
- आचार्य चाणक्य