10. दिसम्बर 2024 / 0 Comments विपदा चेतन आत्मोवाच 49 :-मुसीबत आ गई तो आने दे विपदा नहीं है कोई खास lनरमी-गर्मी का मौसम है, मनः तू हुआ है क्यों उदास llचेतन कौशल "नूरपुरी"